एक संकरी गली में मिली थी श्रेया शर्मा (17) की डेडबॉडी

नई दिल्ली.
किशोरी ने ऑनलाइन पोस्ट की थी एक कविता और उसकी हार्ड कॉपी लड़के को दी थी
- दूसरे लड़कों से बात करने पर किशोरी से नाराज रहता था आरोपी, गला दबाकर की थी हत्या

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यह है मामला: 12वीं की छात्रा श्रेया शर्मा 16 अगस्त को अपने घर के पास रोहिणी सेक्टर-17 में मृत मिली थी। कोचिंग क्लास के बाद वह घर नहीं लौटी तो घरवालों ने जानकारों से संपर्क किया। उस वक्त सार्थक अपने साथियों के साथ मिलकर श्रेया को ढूंढने लगा। घरवालों को उसके हाव-भाव से शक हुआ तो उन्होंने पुलिस को मामले की जानकारी दे दी। पूछताछ में सार्थक ने अपना जुर्म कबूल कर लिया 
 ‘मेरी इच्छा है मैं मर जाऊं, हर बार जब मैं आंखे बंद करती हूं तो अंधकारमय स्वर्ग नजर आता है। मैं यहां रहकर थक चुकी हूं, अपने ही डर से दबी जा रही हूं... हम अपने खिलौनों से खेलते-खेलते खुद खिलौना बन गए हैं। इसलिए लड़के तो लड़के ही रहेंगे और हम महिलाएं कभी कुछ नहीं कहेंगी।’’ कविता की ये लाइनें उस मामले के खुलासे का प्रमुख आधार बनीं, जिसमें 16 अगस्त 2017 को श्रेया शर्मा (17) नाम की लड़की की हत्या कर दी थी। उसका मर्डर स्कूल के ही एक सीनियर लड़के सार्थक कपूर ने किया था। पुलिस ने श्रेया की लिखी यह कविता कोर्ट में उसकी पीड़ा और यातना के रूप में पेश की थी। 
अतिरिक्त सेशन जज विरेंद्र कुमार बंसल ने दोषी सार्थक कपूर को उम्रकैद और 2 लाख रुपए के जुर्माने की सजा सुनाते वक्त यही कविता अपने आदेश में पढ़ी। इस केस की सुनवाई के दौरान एक बार अदालत ने कहा था कि यह केस एक ठुकराए हुए प्रेमी का है, जो हर हाल में अपने प्यार को पाना चाहता था। उसने धमकियां दीं, लेकिन किसी भी तरह कामयाब नहीं हुआ तो लड़की को मार दिया।
किशोरी ने ऑनलाइन पोस्ट की थी एक कविता और उसकी हार्ड कॉपी लड़के को दी थी
- दूसरे लड़कों से बात करने पर किशोरी से नाराज रहता था आरोपी, गला दबाकर की थी हत्या

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